मेरे पास काफी महिलाएं और पुरुष सर से बालों के झड़ने गिरने की शिकायत लेकर आते हैं. कुछ कहते है कि समय से पहले बाल झड़ रहे हैं, कुछ कहते हैं समय से पहले बाल सफेद हो रहे हैं.
तो मित्रों आज हम आपको बालों की जुड़ी समस्या और उसके आयुर्वेदिक उपचार के बारे में बताएंगे.
बाल झड़ने टूटने या सफेद होने के कारण क्या क्या है
दूषित पानी से सिर धोना
स्मोकिंग
शराब का सेवन
उचित आहार की कमी
अत्यधिक मात्रा में जंक फूड और बाहर का दूषित खाना खाने से
अत्यधिक तनाव पूर्ण लाइफस्टाइल
सिर की अच्छे से सफाई न रखना
अत्यधिक मात्रा में डैन्ड्रफ
बालो में तरह तरह के केमिकल युक्त प्रोडक्ट्स इस्तेमाल करना
तेज़ धूप में रहना
किसी प्रकार का कोई लंबा एलोपैथी इलाज़ चलना
इन सब कारणों से हमारे बाल झड़ने शुरू हो जाते हैं या समय से पहले बाल सफेद होना शुरू हो जाते हैं.
तो आज हम आपको जो आयुर्वेदिक दवाई बताने जा रहे हैं इससे बाल को पूरा पोषण ही नहीं मिलेगा बल्कि बालों की जड़ें मजबूत होकर झड़ने से भी रुकेंगे. और बाल धीरे धीरे काले होने शुरू हो जाएंगे.
ये एक दम से पूरी तरह आयुर्वेदिक नुस्खा है. और ये अत्यंत चमत्कारिक ढंग से बालों की समस्या दूर करता है.
तेल के लिए जड़ीबूटियाँ
भृंगराज की पत्तियां और जड़ 100 ग्राम
आँवला 80 ग्राम
ब्राहमी 80 ग्राम
यष्टि मधु 70 ग्राम
लौकी रस 100 ग्राम
पानी 100 मिलीलीटर
ऊपर बताई गई सभी चीज़ों को तिल के 1 लीटर तेल में +300ml नारियल तेल में मिक्स करके 3 दिन तक भिगा रहने दें.
फिर 3 दिन बाद उसे हल्की आंच पर उबालें.
जब पानी पूरा जल जाए तब उसे उतार कर ठंडा करके 2 दिन तक रखें. फिर इसे छानकर किसी बंद शीशी में रख दें.
रोजाना रात को सूखे सर में इसको जड़ो में लगाकर हल्की मालिश करके सो जाएं.
चूर्ण बनाने के लिए जड़ीबूटियाँ
अश्वगंधा 70 ग्राम
आँवला 70 ग्राम
मुलैठी 90 ग्राम
प्रवाल पिष्टी 40 ग्राम
शंख भस्म 30 ग्राम
मुक्ता पिष्टी 20 ग्राम
गुलाब पत्ती 70 ग्राम
भृंग राज 40 ग्राम
सफेद मूसली 40 ग्राम
ऊपर दी गयी सभी जड़ीबूटियों को बारीक पीस कर रोज सुबह एक चमच्च सादे दूध से लें.
और आरोग्य वर्धनी टैबलेट का दोपहर ओर रात एक एक गोली का पानी से सेवन करें.
दोस्तो ये दवाई इतनी कारगर है कि इसका परिणाम बहुत आश्चर्यजनक है.
नोट : ये सारा प्रयोग लगातार 3 से 4 महीने तक करना होगा तब जाकर आपको बहुत अच्छे परिणाम मिल सकते हैं.
दूसरा ये कि गर्भवती महिला इसका सेवन न करें.
– आयुर्वेद डॉ अमर वर्मा