यदि आप ब्राह्मण, ठाकुर, बनिया, कायस्थ, जाट, यादव, कुर्मी, लोध, कुम्हार, सुनार समेत किसी भी सवर्ण व पिछड़ी जातियों में जन्में हैं तो आपके खिलाफ झूठी शिकायत, झूठे आरोप लगाकर आपको गैर ज़मानती झूठे मुकदमे में फंसा कर जेल भेजने का राक्षसी अधिकार, सुप्रीम कोर्ट की रोक के बावजूद हर दलित को मिलेगा…
क्योंकि…
राहुल_गांधी + मायावती के कांग्रेस + बसपा गठबन्धन ने इस देश के ब्राह्मण, ठाकुर बनिया, कायस्थ, जाट, यादव, कुर्मी, लोध, कुम्हार, सुनार समेत सभी सवर्ण व पिछड़ी जातियों के लोगों के संवैधानिक अधिकार, उनके मान सम्मान स्वाभिमान को एससी एसटी एक्ट की तुगलकी धाराओं के पैरों तले रौंदने कुचलवाने की राक्षसी ज़िद ठान ली है.
ध्यान रहे कि…
2016 में पुलिस जांच में अनुसूचित जाति को प्रताड़ित किये जाने के 5347 केस झूठे पाए गए जबकि अनुसूचित जनजाति के कुल 912 मामले झूठे पाए गए.
वर्ष 2015 में एससी-एसटी कानून के तहत अदालत ने कुल 15638 मुकदमे निपटाए जिसमें से 11024 केस में अभियुक्त बरी हुए या आरोपमुक्त हुए (अर्थात इतने मामले फ़र्ज़ी निकले) जबकि 495 मुकदमे वापस ले लिए गए.
सिर्फ 4119 मामलों में ही अभियुक्तों को सजा हुई. ये आंकड़े 2016-17 की सामाजिक न्याय विभाग की वार्षिक रिपोर्ट में दिए गए हैं.
[SC/ST एक्ट पर सुप्रीम कोर्ट का अहम फैसला, अब तत्काल गिरफ्तारी से पहले जांच]
उपरोक्त दुरुपयोग और विसंगतियों पर रोक के सुप्रीम कोर्ट के फैसले के ख़िलाफ़ कांग्रेस ने बसपा के साथ मिलकर सड़कों पर हिंसा का खूनी ताण्डव शुरू किया है.
संसद चलने नहीं दे रही है. राहुल गांधी सरकार के ख़िलाफ़ जहर उगल रहे हैं. सरकार को सुप्रीम कोर्ट के फैसले के खिलाफ याचिका दायर करने पर मजबूर कर दिया है.
अपने इस हिंसक खूनी तांडव से राहुल गांधी+मायावती के कांग्रेस+बसपा गठबन्धन ने इस देश के ब्राह्मण, ठाकुर, बनिया, कायस्थ, जाट, यादव, कुर्मी, लोध, कुम्हार, सुनार समेत सभी सवर्ण व पिछड़ी जातियों के लोगों के संवैधानिक अधिकार, उनके मान सम्मान स्वाभिमान को एससी एसटी एक्ट की तुगलकी धाराओं के पैरों तले रौंदने कुचलने की ठान ली है.