वॉशिंगटन. आतंकवाद की पनाहगाह बन चुके पाकिस्तान के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कई आवाजें उठ रही हैं. अब अमेरिका में पेंटागन के एक पूर्व अधिकारी ने कहा है कि पाकिस्तान को आतंकवाद को प्रायोजित करने वाला देश घोषित करने का वक्त आ चुका है.
उन्होंने साथ ही कतर और तुर्की को भी इसी श्रेणी में शामिल किए जाने की मांग की है. आतंकवाद को लेकर खुद अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप पाकिस्तान को खरी खोटी सुना चुके हैं जिसे लेकर दोनों देशों के रिश्तों में कड़वाहट आ गई है.
एक स्थानीय अखबार के संपादकीय पेज पर अमेरिकन एंटरप्राइज इंस्टिट्यूट (एईआई) के रेजिडेंट स्कॉलर माइकल रुबिन ने लिखा है, ‘समय आ गया है कि पाकिस्तान को जवाबदेह ठहराया जाए. अगर पाकिस्तान प्रतिबंधों से बचना चाहता है तो उसे आतंकवादियों को जेल में बंद करना चाहिए. उनका वित्त पोषण और अन्य तरह से सहयोग बंद करना चाहिए.’
साल 1979 से अमेरिका का विदेश विभाग आतंक प्रयोजित करने वाले देशों की सूची रखता है. अमेरिकी विदेश विभाग भारतीय विदेश मंत्रालय के समकक्ष है.
पेंटागन के पूर्व अधिकारी रबीन ने लेख में तर्क दिया है कि जब दुनिया आतंकवादी गतिविधियां से पीड़ित है तब अमेरिका को वास्तविक उद्देश्य के लिए आतंक को प्रायोजित करने वाले देशों की सूची जारी करने की जरूरत है.
सूची में इस बात से फर्क नहीं पड़ना चाहिए कि वह देश अमेरिका का सहयोगी है या नहीं. उन्होंने कहा कि इन देशों में तुर्की, कतर और पाकिस्तान को शामिल किया जाना चाहिए.
अब तक अमेरिकी विदेश मंत्री ने लीबिया, इराक, दक्षिणी यमन, सीरिया, क्यूबा, ईरान, सूडान और उत्तर कोरिया द्वारा लगातार अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद के कृत्यों को समर्थन देने की वजह से आतंक प्रायोजित करने वाले देश घोषित किया था. समय के साथ कई देशों को इस सूची से बाहर भी निकाला गया. अब इस सूची में तीन देश ईरान, सीरिया और सूडान हैं.