‘राज्य प्रायोजित आतंकवाद की निंदा करने का वक्त ख़त्म, अब कार्रवाई की ज़रुरत’

मोबोर (गोवा). पाकिस्तान पर तीखा हमला बोलते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को कहा कि ‘आतंकवाद इसकी सबसे प्यारी औलाद बन चुका है. और बदले में यह औलाद अपने माता-पिता के मूल चरित्र और प्रकृति को परिभाषित करने लगा है.’

पीएम ने कहा, वह अपनी ‘सबसे प्यारी औलाद’ बन चुके आतंकवाद के अंधेरे को ‘गले लगाता है और फैलाता’ है. उन्होंने आतंकवाद से मुकाबले के लिए निर्णायक लड़ाई की वकालत करते हुए कहा कि राज्य प्रायोजित आतंकवाद की निंदा करने के दिन बहुत पहले लद गए.

मोदी ने ब्रिक्स और बिम्सटेक समूह के सदस्य देशों से जोरदार अपील की कि वे ‘आतंक के दर्शन को पालने-पोसने वालों से अपने तौर-तरीकों में सुधार लाने को कहें या इस सभ्य संसार में अलग-थलग हो जाने’’ का स्पष्ट संदेश दें.

प्रधानमंत्री ने यह टिप्पणी ऐसे समय में की है जब उन्होंने ब्रिक्स देशों के साथ-साथ बे ऑफ बंगाल इनीशिएटिव फॉर मल्टी-सेक्टोरल टेक्निकल एंड इकनॉमिक को-ऑपरेशन (बिम्सटेक) के सदस्य देशों को आतंकवाद, अर्थव्यवस्था, व्यापार एवं संपर्क के मुद्दों पर ज्यादा करीबी तौर पर मिलकर काम करने की अपील की.

गौरतलब है कि ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका ब्रिक्स के कुल पांच सदस्य देश हैं.

पहली ‘ब्रिक्स-बिम्सटेक आउटरीच मीटिंग’ को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा, ‘आतंकवाद, कट्टरपंथ और अंतरराष्ट्रीय अपराध हम सभी के लिए गंभीर खतरा हैं.’

‘ब्रिक्स-बिम्सटेक आउटरीच मीटिंग’ में रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन, चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग, दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति जैकब जुमा और ब्राजील के राष्ट्रपति मिचेल टेमर ने भी शिरकत की.

बिम्सटेक के नेताओं में बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना, श्रीलंका के राष्ट्रपति मैत्रीपाल सिरीसेना, नेपाल के प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल ‘प्रचंड’, म्यांमा की विदेश मंत्री आंग सान सू ची और भूटान के प्रधानमंत्री शेरिंग तोबग्ये शामिल थे.

मोदी ने कहा कि भौगोलिक बाधाएं और सीमाएं समाज को नुकसान पहुंचाना चाह रहे तत्वों पर कोई बंदिशें नहीं लगा पातीं. उन्होंने कहा, ‘वे न सिर्फ हमारे नागरिकों की जिंदगी को खतरा पहुंचाते हैं, वे आर्थिक समृद्धि की तरफ हमारे कदमों को भी रोक देते हैं.’

स्पष्ट तौर पर पाकिस्तान की ओर इशारा करते हुए मोदी ने कहा, ‘दक्षिण एशिया और बिम्सटेक में एक को छोड़कर सभी देश अपने लोगों के लिए शांति, विकास एवं आर्थिक समृद्धि की राह पर चलने के लिए प्रेरित हैं. दुर्भाग्यवश, भारत के पड़ोस में स्थित यह देश आतंकवाद के अंधेरे को पालता-पोसता और फैलाता है.’

पाकिस्तान को आड़े हाथ लेते हुए मोदी ने कहा, ‘आतंकवाद इसकी सबसे प्यारी औलाद बन चुका है. और बदले में यह औलाद अपने माता-पिता के मूल चरित्र और प्रकृति को परिभाषित करने लगा है.’

कार्रवाई की जरूरत पर जोर देते हुए मोदी ने कहा, ‘राज्य प्रायोजित आतंकवाद की निंदा करने का वक्त कब का लद चुका है. यह खड़े होने और कार्रवाई करने का वक्त है, और निर्णायक कार्रवाई की जरूरत है. लिहाजा, ब्रिक्स और बिम्सटेक के लिए जरूरी है कि वे एक समग्र प्रतिक्रिया जाहिर करें जिससे आतंक के दोषियों के खिलाफ हमारे समाज को सुरक्षित रखा जा सके.’

ब्रिक्स और बिम्सटेक के नेताओं से अपील करते हुए मोदी ने कहा कि यहां ‘मौजूद हर किसी को आतंकवाद के दर्शन को पालने-पोसने वालों और मानवता को अमानवीय बनाने की कोशिश करने वालों को यह स्पष्ट संदेश देना चाहिए कि वे अपने तौर-तरीके सुधारें या इस सभ्य संसार में अलग-थलग हो जाएं.’

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